वतन की मिट्टी से दूर दफन हो गए कादर खान


बॉलीवुड डेस्क, कादर खान... एक्टिंग के महारथी, कलम के भी उतने ही दमदार। 250 से ज्यादा फिल्मों में कलम का जादू चलाने वाले कादर का आखिरी वक्त कलम की नोंक जितना ही दर्द भरा था। कनाडा में जब उन्हें कब्रिस्तान में दफनाया गया, तब उनके नाम की एक तख्ती लगी थी, जिसमें चंद शब्दों में उनके पिछले 80 सालों का सफर समेट दिया खुद कादर ने भी कलम चलाते वक्त यह नहीं सोचा होगा कि एक दिन किसी और की कलम उन्हें एक सफहे और चंद अल्फाजों में बांधकर जमीन में दफ्न कर देगी।दिग्गज अभिनेता कादर खान का 81 साल की उम्र में कनाडा में निधन हो गया। उनके बेटे सरफराज ने इस बात की पुष्टि की है। वह काफी समय से बीमार थे और हाल ही में उनके दिमाग ने काम करना बंद कर दिया था जिसके बाद उन्हें वेंटीलेटर पर लिया गया था। कादर खान डायलॉग लेखन के लिए भी जाने जाते थे। अपने डायलॉग से ही उन्होंने अमिताभ को एंग्रीमैन बनाया। से दूर दफन हो गए अमिताभ बच्चन और जितेंद्र जैसे बड़े अभिनेताओं को स्थापित करने में कादर खान भी बहुत बड़ा योगदान रहा है। उन्होंने लगभग 300 फिल्मों में काम किया और लगभग 200 फिल्मों को लिए स्क्रीन प्ले लिखा। 1970 से उन्होंने बॉलीवुड के हर बड़े कलाकार के साथ काम किया है। उन्हें अमिताभ बच्चन को एंग्रीमैन बनाने का श्रेय भी जाता है। कादर खान ने ही शहंशाह जैसी फिल्म के डायलॉग लिखे। 


कादर खान के 10 मशहूर डायलॉग


- हम नहीं तीर और तलवार से मरने वाले, कत्ल करना है तो तो एक तिरछी नजर काफी है... - 


- दीनानाथ चौहान....नाम है मेरा से लेकर मैं जहां और खड़ा होता हूं, लाइन वहीं से शुरू होती है.. - तुम्हारी उम्र मेरे तजुर्बे से बहुत कम है, तुमने उतनी दीवालियां नहीं देखीं जितनी मैंने तुम जैसे बिकने वालों की बर्बादियां देखी हैं- जैसी करनी वैसी भरनी


- सुख तो बेवफा तवायफ की तरह है...जो आज इसके पास, कल उसके पास- जैसी करनी वैसी भरनी |- जिंदगी तो खुदा की रहमत है, जो नहीं समझा उसकी जिंदगी पे लानत- नसीब - लानत है, ना पेट में दाना है, ना लोटे में पानी है, ना बंडल में बीडी है, ना माचिस में तीली है- बाप नंबरी बेटा दस नंबरी - मालिक, मुझे मालूम नहीं था कि आप मेरे पीछे खड़े हैं, मैं समझा कोई जानवर अपनी सींग से खटमल्लू चला रहा है। - हिम्मतवाला - अरे क्या गजब करते हो सेक्रेटरी साहब क्यों मोहब्बत के शीशे को बुढ़ापे के पत्थर से तोड़ रहे होदूल्हे राजा - सरकार अगर इस गांव के सर हैं, तो मैं उस सर का सींग हूं। और जो हमारी बात नहीं मानता मैं उसे सींग मार कर सिंगापुर बना देता हूं- हिम्मतवाला - बचपन से सर पर अल्लाह का हाथ और अल्लाहरख्खा है अपने साथ, बाजू पर 786 का हैबिल्ला, 20 नंबर की बीड़ी पीता हूं और नाम है'इकबाल'- कुली


- कादर खान ने राजेश खन्ना की महाचोर, छैला बाबू, धरम कांटा, फिफ्टी फिफ्टी, नया कदम, मास्टरजी और नसीहत जैसी फिल्मों के डायलॉग लिखे। उन्हें डायलॉग राइटर के तौर पर ब्रेक राजेश खन्ना ने ही दिया था। उन्हें मेरी आवाज सुनो फिल्म के लिए 1982 में सर्वश्रेष्ठ संवाद लेखक का पुरस्कार मिला और 1993 में अंगार फिल्म के लिए सर्वश्रेष्ठ संवाद लेखक का फिल्म फेयर पुरस्कार मिला।